main page

हुमा कुरैशी और 'सेव द चिल्ड्रन' ने 100-बिस्तरों वाले अस्पताल के लिए फंडरेजर की घोषणा

Updated 14 May, 2021 08:00:58 PM

हुमा कुरैशी और सेव द चिल्ड्रन ने 100-बिस्तरों वाले अस्पताल के लिए फंडरेजर की घोषणा।

नई दिल्ली। जल्द ही जैक स्नाइडर द्वारा निर्देशित आर्मी ऑफ द डेड में दिखाई देने वाली हुमा कुरैशी ने संकटग्रस्त बच्चों की मदद करने में 100 साल की विरासत रखने वाले संगठन सेव द चिल्ड्रन के साथ भागीदारी की है। इस बार राष्ट्रीय राजधानी के स्वास्थ्य ढांचे पर बोझ को कम करने के लिए 100 बिस्तरों वाले अस्पताल के लिए धन जुटाकर दिल्ली को महामारी से लड़ने में मदद करने के लिए तैयार किया गया है। 

 

हुमा कुरैशी और सेव द चिल्ड्रन ने 100-बिस्तरों वाले अस्पताल के लिए फंडरेजर की घोषणा
नई दिल्ली की रहने वाली हुमा सभी के काम आने वाले समाधान के लिए सेव द चिल्ड्रन के साथ इस पहल पर काम कर रही है जो कोविड-19 की वजह से हो रही मौतों और निराशाजनक माहौल के बीच बहुत आवश्यक उम्मीद प्रदान करेगी। कुशल स्वास्थ्य पेशेवरों, चिकित्सा उपकरणों (स्वयं के ऑक्सीजन प्लांट सहित) से सुसज्जित आपातकालीन चिकित्सा सुविधा दिल्ली के सबसे वंचित बच्चों और समुदायों को महत्वपूर्ण, न्यायसंगत और जीवनरक्षक देखभाल और उपचार प्रदान करेगी। सोनाक्षी सिन्हा, मुदस्सर अजीज, जय शेवकरामानी, अर्जुन कपूर, मोनिशा आडवाणी, रोहित धवन, हंसल मेहता, रमेश तौरानी, दीया मिर्जा, अनीषा पादुकोण, श्वेता नंदा, साकिब सेल जैसे फिल्म बिरादरी से जुड़े कई दोस्त भी हुमा के समर्थन में सामने आए हैं। 

हुमा कुरैशी ने इस पहल पर कहा,“मेरे आस-पास जो कुछ हो रहा था, उससे मैं बहुत आहत और भयभीत थी। इस नई दिल्ली को, जो मेरा घर भी है, को दूसरी लहर में, बढ़ते केसेस, मौतों के आंकड़ों और बोझ में दब रही स्वास्थ्य प्रणाली के साथ देखना मेरे लिए बेहद निराशाजनक था। मुझे मदद के लिए कुछ करना था। सेव द चिल्ड्रन पहले से ही अधिकारियों के संपर्क में था और सभी काम सही तरीके से आगे बढ़े। यह तो केवल एक शुरुआत है। हम दिल्ली से शुरुआत कर रहे हैं, लेकिन मेरी योजना इस अभियान को दूसरे शहरों तक ले जाने की है। और इस घातक वायरस के खिलाफ लड़ाई जीतने के लिए हमें एक साथ आने की आवश्यकता होगी।” 

 

मानवीय संकट के मदद करने के अपने अनुभव के साथ सेव द चिल्ड्रन ने महामारी की चपेट में आए वंचित तबके के बच्चों और उनके परिवारों को महत्वपूर्ण देखभाल और सेवाएं प्रदान की हैं और करीब 5.57 लाख बच्चों तक पहुंचा है। कोरोनावायरस की दूसरी लहर के संबंध में सेव द चिल्ड्रन ने #ProtectAMillion (प्रोटेक्ट अ मिलियन यानी दस लाख को बचाओ) मिशन शुरू किया है। 14 राज्यों और 2 केंद्र शासित प्रदेशों के 57 जिलों में 1 मिलियन (10 लाख) बच्चों और उनके परिवारों तक पहुंचने की प्रतिबद्धता का लक्ष्य रखा है। हुमा के सहयोग से सेव द चिल्ड्रन को दस लाख की सुरक्षा के अपने मिशन के करीब पहुंचने में मदद मिलेगी।

 

पहल के बारे में बोलते हुए सेव द चिल्ड्रन के सीईओ सुदर्शन सुचि ने कहा,“भारत में कोविड-19 की दूसरी लहर ने हमारी स्वास्थ्य सेवा प्रणाली को हिलाकर रख दिया है जो अचानक केस बढ़ने और बोझ बढ़ने से बहुत अधिक प्रभावित और हड़बड़ा गई है। हम बढ़ते मामलों और मौतों से जूझ रहे हैं। हुमा ने अपने ‘ब्रीथ ऑफ लाइफ’ की प्रतिज्ञा लेकर हमारे साथ आने की प्रतिबद्धता जताई है और इसने सबसे कमजोर तबके के बच्चों तक पहुंचने में हमें बढ़ावा मिलेगा। हुमा के समर्थन से हम प्रशासन के साथ मिलकर दिल्ली की कोविड-19 देखभाल की आवश्यकता को पूरा करने में सक्षम होंगे और उन लोगों के लिए सेवाएं मुहैया कराएंगे जिन्हें इसकी सबसे अधिक आवश्यकता है - यानी वंचित तबके के समुदाय और बच्चे। इसके अलावा हम उन सबसे कमजोर लोगों तक पहुंचेंगे, जो इस समय घर पर हैं और लॉकडाउन व आय न होने से जीवनरक्षक दवाओं और आपूर्ति तक नहीं पहुंच सकते हैं। हम अपनी प्रतिबद्धता के साथ सेव द चिल्ड्रन से जुड़ने के लिए हुमा के बहुत आभारी हैं और हम जानते हैं कि हम उस मिशन को हासिल करेंगे जिसे हमने शुरू किया है।” 

 

सेव द चिल्ड्रन तीन-स्तरीय रणनीति पर काम करने के लिए प्रतिबद्ध है, जिसमें सरवाइल पर फोकस शामिल है। इसके तहत समुदाय-स्तर के समर्थन, स्वास्थ्य सुविधाओं और कर्मचारियों, कोविड-19 देखभाल किट, समय पर जांच, ऑक्सीजन की जरूरत और चिकित्सा सुविधा के साथ समुदायों के बीच टीकों की बेहतर पहुंच के साथ मौजूदा बुनियादी ढांचे की सहायता शामिल है। दूसरी प्रमुख रणनीति है प्रोटेक्शन, जिसमें सतत प्राथमिकता क साथ जरूरतमंद बच्चों के लिए सुरक्षित स्थान, संस्थागत देखभाल और साइको-सोशल समर्थन के निर्माण और समर्थन शामिल है। हम हिंसा, बाल श्रम और चिल्ड्रन ट्रैफिकिंग के खिलाफ बच्चों की सुरक्षा पर भी पैनी नजर रख रहे हैं, जो कि संकट के कारण होने वाले आर्थिक संकट के सामान्य परिणाम हैं। कोविड-19 के परिणामों से जुड़े मिथक और अफवाहों से निपटने के लिए समुदाय स्तर पर केयर  अभियान चला रहे हैं। इनमें आहार और पोषण पर जागरूकता अभियान चला रहे हैं और लड़कियों, गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं और बुजुर्गों के लिए विशेष जानकारी प्रदान कर रहे हैं। भारत के 14 राज्यों और 120 देशों में बच्चों की शिक्षा, स्वास्थ्य, और संरक्षण और मानवीय / डीआरआर जरूरतों के मुद्दों पर सेव द चिल्ड्रन काम करता है, विशेषकर उन लोगों के लिए जो जरूरतमंद है और सबसे वंचित तबके के और हाशिए पर रहने वाले समुदायों से हैं।

Content Writer: Chandan

huma QureshihealthSave the ChildrenPledge a Breath of Life

loading...