कहा जाता है कि जब कोई इस दुनिया को अलविदा कह कर चला जाता है तो उसके घरवालों के पास सिर्फ यादें रह जाती हैं। ये यादें कुछ ऐसी होती है जो अक्सर दिवंगत इंसान से जुड़े प्रियजनों कोअंदर ही अंदर खाए जाती है और बेहद दर्द देती हैं। कुछ ऐसा ही दिवंगत बॉलीवुड एक्टर सुशांत सिंह राजपूत के घरवालों के साथ भी है। घर के इकलौते बेटे को खोने के बाद उनसे जुड़ा हर शख्स हर पल उन्हें याद तो करता है पर इंसाफ दिलाने के लिए भी लड़ रहा है। हाल ही में इकलौते भाई की याद में श्वेता ने अपने इंस्टा अकाउंट पर कविता के जरिए अ
05 Mar, 2021 11:19 AMमुंबई: कहा जाता है कि जब कोई इस दुनिया को अलविदा कह कर चला जाता है तो उसके घरवालों के पास सिर्फ यादें रह जाती हैं। ये यादें कुछ ऐसी होती है जो अक्सर दिवंगत इंसान से जुड़े प्रियजनों कोअंदर ही अंदर खाए जाती है और बेहद दर्द देती हैं। कुछ ऐसा ही दिवंगत बॉलीवुड एक्टर सुशांत सिंह राजपूत के घरवालों के साथ भी है।
घर के इकलौते बेटे को खोने के बाद उनसे जुड़ा हर शख्स हर पल उन्हें याद तो करता है पर इंसाफ दिलाने के लिए भी लड़ रहा है। वहीं इकलौते भाई को इंसाफ दिलाने के लिए उनकी बहन श्वेता सिंह कीर्ति ने मुहिम भी चलाई थी।
श्वेता हर दिन अपने भाई सुशांत की याद कर इमोशल होती हैं। हाल ही में श्वेता ने अपने इंस्टा अकाउंट पर कविता के जरिए अपना दर्द उड़ेला। कविता को शेयर करते हुए श्वेता ने लिखा-'कहने के लिए बहुत कुछ अभी भी बाकी है, लेकिन कहने के लिए शब्द नहीं है।'
इसके अलावा श्वेता ने एक ट्वीट भी किया है। इसमें उन्होंने लिखा-'धैर्य का शाब्दिक अर्थ है देरी, परेशानी या कष्ट को बिना गुस्से के स्वीकार या सहन करने की क्षमता।' श्वेता सिंह कीर्ति ने कविता के जरिए सुशांत के न्याय में हो रही देरी पर अपना दर्द बयां किया।
बता दें कि सुशांत ने पिछले साल 14 जून को इस दुनिया को अलविदा कह दिया था। सुशांत अपने बांद्रा वाले घर में मृत पाए गए थे। सुशांत के निधन को लगभग 9 महीने होने वाले हैं। इस केस की जांच में सीबीआई लगी हुई है मगर अभी तक मौत की गुत्थी सुलझ नहीं पाई है। सुशांत के फैंस के साथ साथ उनके घरवाले भी इंसाफ मिलने का इंतजार कर रहे हैं।